याद आते हैं के बोल | 120 Bahadur का यह मार्मिक गीत एक सैनिक की यादों का पिटारा है। Javed Akhtar के शब्द और Amit Trivedi का संगीत दिल को छू जाता है। गीत पढ़ें और महसूस करें।
Yaad Aate Hain Lyrics in Hindi – Full Song Lyrics (याद आते हैं)
हो.. निकले थे जब हम घर से
अपने गाँव से नगर से
प्यार जो बरसे याद आते हैं
लिपट के हमको मइया
बोली थी जाओ सिपहिया
वो पल हमें भईया याद आते हैं
अपने आँगन चौबारे
वो गलियाँ और गलियारे
बचपन के दोस्त सारे याद आते हैं
लहराता कोई आँचल,
वो आँखें और वो काजल
हम जिनपे थे पागल याद आते हैं
हो.. निकले थे जब हम घर से
अपने गाँव से नगर से
प्यार जो बरसे याद आते हैं
हो.. लिपट के हमको मइया
बोली थी जाओ सिपहिया
वो पल हमें भईया याद आते हैं
दिवाली की सारी जगमग
वो होली में चलना डगमग
वो मस्ती की रातें थीं
वो मस्ती के दिन
जिसे देख कर दिल धड़के
वो कितनी भी हमपे भड़के
मगर चैन हमको कब था
उसे देखे बिन
उसे देखे बिन, उसे देखे बिन
वो प्यार के सच्चे नाटक
वो शादी में बजती ढोलक
वो गीत पुराने अब तक याद आते हैं
गाँव के गीत सुहाने
चाहे कितने हों पुराने
हमको जाने-अनजाने याद आते हैं
हो.. निकले थे जब हम घर से
अपने गाँव से नगर से
प्यार जो बरसे याद आते हैं
याद आते हैं...
हो.. लिपट के हमको मइया
बोली थी जाओ सिपहिया
वो पल हमें भईया याद आते हैं
याद आते हैं...
हाँ..आ..आ.., हाँ..आ..आ..
हाँ..आ..आ.. याद आते हैं
याद आते हैं...
हाँ..आ..आ.., हाँ..आ..आ..
हाँ..आ..आ.. याद आते हैं
याद आते हैं...!
गीतकार: जावेद अख्तर
About Yaad Aate Hain (याद आते हैं) Song
यह गाना "Yaad Aate Hain" movie 120 Bahadur का एक emotional track है, जिसमें singers Subhadeep Das Chowdhury, Chirag Kotwal, Obom Tangu और Utkarsh Wankhede ने अपनी आवाज़ दी है, music composed किया है Amit Trivedi ने, और lyrics लिखे हैं legendary Javed Akhtar ने, यह गाना एक सैनिक की feelings को दिखाता है, जो अपने घर और बीते पलों को याद करता है, lyrics शुरू होते हैं "निकले थे जब हम घर से, अपने गाँव से नगर से", जो एक soldier के journey को describe करते हैं, जब वह अपने घर से दूर जाता है, फिर गाने में mother का प्यार दिखाया गया है, "लिपट के हमको मइया, बोली थी जाओ सिपहिया", यहाँ माँ के आशीर्वाद और उनके शब्दों की याद दिलाई गई है, साथ ही childhood memories, जैसे "अपने आँगन चौबारे, वो गलियाँ और गलियारे", और पुराने दोस्तों की यादें भी गाने में शामिल हैं, जो हर किसी को emotional कर देती हैं।
गाने के अगले हिस्से में festivals और प्यार की यादों को detail में बताया गया है, जैसे "दिवाली की सारी जगमग, वो होली में चलना डगमग", ये lines दिवाली और होली की खुशियों को याद दिलाती हैं, फिर गाना एक special person की याद में चला जाता है, "जिसे देख कर दिल धड़के, वो कितनी भी हमपे भड़के", जो एक प्यारी शख्सियत के बारे में है, जिसके बिना चैन नहीं मिलता, इसके बाद गाँव के traditional moments describe किए गए हैं, जैसे शादी में बजती ढोलक, पुराने गीत, और गाँव के सुहाने गाने, जो "गाँव के गीत सुहाने, चाहे कितने हों पुराने" में दिखता है, ये सभी memories गाने को और भी ज्यादा दिलचस्प बनाती हैं, और listener को अपने past से connect करवाती हैं।
गाने का chorus part बार-बार repeat होता है, "निकले थे जब हम घर से, अपने गाँव से नगर से, प्यार जो बरसे याद आते हैं", और "लिपट के हमको मइया, बोली थी जाओ सिपहिया, वो पल हमें भईया याद आते हैं", जो song का main theme है, और last में emotional ending के साथ गाना खत्म होता है, "हाँ..आ..आ.. याद आते हैं", यह गाना overall nostalgia और emotions से भरा हुआ है, और Javed Akhtar की powerful writing, Amit Trivedi की soulful composition, और singers की heartfelt voices ने इसे एक unforgettable track बना दिया है, जो हर किसी को अपने roots और यादों से जोड़ता है।